पक्का आवास पाने से कोई न छूटे : मुख्यमंत्री डॉ. यादव

पक्का आवास पाने से कोई न छूटे : मुख्यमंत्री डॉ. यादव

पीएम आवास योजना का लाभ गांव-गांव तक पहुंचाने 31 मार्च तक पूर्ण करें सर्वे कार्य
जनजातीय ग्रामों में टिकाऊ खेती को बढ़ावा देने के लिए करें प्रयास
पारम्परिक मछुआरों को संरक्षण देने बनाएं कार्ययोजना
जनजातीय परिवारों की माताओं-बच्चों के बेहतर स्वास्थ्य के लिए करें सभी उपाय
जनजातीय परिवारों को उपलब्ध कराएं दुधारू गाय
मुख्यमंत्री ने धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान को सफल बनाने समयबद्ध क्रियान्वयन के दिये निर्देश

भोपाल

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि जनजातीय वर्ग के सभी हितग्राहियों को पक्का आवास प्रदान करें। कोई भी हितग्राही आवास पाने से वंचित न रहे। किन्हीं भी कारणों से आवास पाने से छूट गये पात्र हितग्राहियों को प्रधानमंत्री आवास योजना या मुख्यमंत्री आवास योजना की पात्रतानुसार सबको पक्के घर की सौगात दी जाये। मुख्यमंत्री डॉ. यादव बुधवार को समत्व भवन (मुख्यमंत्री निवास) में धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान की समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे। बैठक में उन्होंने अभियान के मैदानी क्रियान्वयन से जुड़े सभी विभागीय अधिकारियों को अभियान तहत गांव और हितग्राही चयन का काम पूरा कर तय कार्य योजना एवं मापदंडों के अनुसार लक्षित क्षेत्रों में विकास कार्य सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि यह अभियान जनजातीय समुदाय के समग्र विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है। इसके प्रभावी क्रियान्वयन से ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी सुविधाओं का विस्तार होगा। उन्होंने अधिकारियों को अभियान में स्वास्थ्य, शिक्षा, रोजगार और आधारभूत संरचना से जुड़ी योजनाओं को प्राथमिकता से करने के निर्देश दिए हैं।

बैठक में मुख्य सचिव अनुराग जैन, अपर मुख्य सचिव नवकरणीय ऊर्जा मनु श्रीवास्तव, अपर मुख्य सचिव विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी संजय दुबे, अपर मुख्य सचिव उर्जा नीरज मंडलोई, अपर मुख्य सचिव नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण श्रीमती रश्मि शमी, प्रमुख सचिव वित्त मनीष रस्तोगी, प्रमुख सचिव जनजातीय कार्य गुलशन बामरा, सचिव एवं आयुक्त जनसम्पर्क डॉ. सुदाम खाड़े, आयुक्त जनजातीय कार्य श्रीमन शुक्ल सहित अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने अभियान की अब तक की प्रारंभिक प्रगति एवं केन्द्र सरकार को अभियान के संदर्भ में भेजे गये विकास प्रस्तावों की समीक्षा की। मुख्यमंत्री ने जनजातीय गांवों, बसाहटों, मजरों टोलों में ज़रूरत वाले विकास कार्यों में गति लाने ठोस रणनीति बनाने पर जोर दिया। केंद्र सरकार के इस अभियान से राज्य सरकार जनजातीय समुदायों के उत्थान के लिए हर संभव प्रयास कर रही है। सरकार का लक्ष्य है कि जनजातीय वर्ग के लिए संचालित सभी योजनाओं का लाभ हर हितग्राही तक पहुंचे।

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रदेश के जनजातीय ग्रामों में टिकाऊ खेती को बढ़ावा देने के लिए शासन स्तर पर प्रयास किए जाएं। गांव में मिट्टी का परीक्षण कर किसानों को बताया जाए कि उन्हें कौन सी फसल लगाना ज्यादा लाभदायक होगा। साथ ही टिकाऊ एवं पर्यावरण अनुकूल खेती को प्रोत्साहित करने के लिए सेमिनार आयोजित किए जाएं। उन्होंने कहा कि जनजातीय परिवारों के बच्चों में कुपोषण को दूर करने के लिए शासकीय सहयोग से दुधारू गाय उपलब्ध कराई जाए। इससे जनजातीय वर्ग की माताओं और बच्चों का स्वास्थ्य बेहतर होगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने जनजातीय आबादी वाले 89 विकासखंडों में प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ गांव-गांव तक पहुंचाने के लिए 31 मार्च 2025 तक सर्वे का कार्य पूर्ण करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सबको पक्का आवास देने की मंशा से समर्पित होकर कार्य करें।

पारम्परिक उत्पादों की बेहतर मार्केटिंग के लिए शुरू करें ई-कॉमर्स सुविधा

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि जनजातीय ग्रामों में रहने वाले लोगों को पूजा-पाठ, भजन-कीर्तन और बैठक जैसे आयोजन के लिए गांव-गांव में सामुदायिक भवन उपलब्ध कराए जाएं। यहां होने वाले आयोजनों से जनजातीय संस्कृति समृद्ध रहेगी। उन्होंने जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान में प्रदेश के चयनित 11 हजार 377 जनजातीय ग्रामों में रहने वाले लोगों द्वारा उगाई जाने वाली रागी, कोदो-कुटकी जैसे मोटे अनाज (मिलेट्स) की खरीदारी शासन स्तर पर करने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि मोटे अनाज के विक्रय के लिए प्रदेश में विशेष मंडियां शुरू की जाए जिससे गांव के लोगों को उनकी फसल का उचित दाम मिले और बिचौलियों का नेटवर्क खत्म हो। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि जनजातीय लोगों द्वारा तैयार किए जा रहे पारम्परिक उत्पादों एवं खाद्य उत्पादों की देश-दुनिया में बेहतर मार्केटिंग के लिए ई-कॉमर्स की सुविधा शुरू की जाए।

मत्स्य उत्पादन में संभावनाओं को देखते हुए निर्यात का दायरा बढ़ाएं

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि मत्स्य पालन को बढ़ावा देने के लिए प्रदेश में ही मछलियों के बीज तैयार करने की व्यवस्था के लिए निजी क्षेत्र की भागीदारी से कार्य योजना तैयार की जाए। बैठक में प्रमुख सचिव मछुआ कल्याण एवं मत्स्य पालन डीपी आहूजा ने अवगत कराया कि विभाग पारम्परिक मछुआरों को संरक्षण प्रदान करने के लिए योजनाओं पर कार्य कर रहा है। प्रदेश में हेचरी विकसित कर दूसरे राज्यों को मत्स्य-बीज बेचने से रोजगार एवं आय में वृद्धि होगी। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने निर्देश दिए कि मत्स्य उत्पादन में अपार संभावनाओं को देखते हुए निर्यात का दायरा बढ़ाया जाए। साथ ही उन्होंने कहा‍ कि जनजातीय कृषकों की आय बढ़ाने के लिए प्रदेश सरकार संकल्पित है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि जिन स्थानों पर खेती की संभावना कम है, वहां लोगों को पशुपालन के लिए प्रोत्साहित कर लाभान्वित किया जाए।

पोषण वाटिका की स्थापना में बालाघाट और मण्डला को मिले प्राथमिकता

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने अभियान में शामिल जनजातीय ग्रामों के लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जनजातीय क्षेत्रों में सिकल सेल एनीमिया रोग के पीड़ितों को चिन्हित कर उनके उपचार की समुचित व्यवस्था की जाए। बैठक में लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग के अधिकारियों ने बताया कि जबलपुर और शहडोल में मरीजों के बोनमेरो ट्रांसप्लांट की सुविधा शुरू की जा रही है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने राष्ट्रीय आयुष मिशन के अंतर्गत बालाघाट और मण्डला जिले में पोषण वाटिकाएं प्राथमिकता से स्थापित करने के निर्देश दिए।

विद्युत कनेक्शन के लिए मजऱे-टोलों पर दें विशेष ध्यान

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि सुदूर जनजातीय ग्रामों में बिजली और पानी के कनेक्शन की बाधाओं को दूर किया जाए। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि पात्र हितग्राहियों को सोलर पम्प योजना से लाभान्वित करने के लिए समय-सीमा तय की जाए। साथ ही ऐसे लोगों को जिनके पास बिजली कनेक्शन नहीं है, उन्हें सोलर पम्प योजना का प्राथ‍मिकता से लाभ दिया जाए। विद्युत कनेक्शन के लिए मजरा-टोला पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है। बताया गया कि जनजातीय क्षेत्रों में 42 जिलों के 1428 ग्रामों में निवास करने वाली पूरी आबादी को जल जीवन मिशन अंतर्गत नल-जल आपूर्ति का सीधा लाभ मिलेगा।

जनजातीय युवाओं को उपलब्ध कराएं रोजगार

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान में शामिल ग्रामों में 92 सीएम राईज स्कूल बनाए जाएंगे। इनमें से 39 का कार्य पूर्ण हो चुका है। पीएम जन-मन योजना में प्रदेश के 20 जिलों में 50 स्थानों पर 100 छात्रावास स्वीकृत हुए हैं। इनमें से 50 प्रतिशत छात्रावास बालिकाओं के लिए आरक्षित हैं। बैठक में कौशल विकास एवं तकनीकी शिक्षा विभाग के अधिकारी ने बताया कि जनजातीय बहुल 89 विकासखंडों में युवाओं को कौशल विकास एवं रोजगार योजनाओं से लाभान्वित करने के लिए आईटीआई में अधोसंरचना‍ विकास के कार्य प्रमुखता से किए जा रहे हैं। इसके अंतर्गत आईटीआई छात्रों के लिए 34 छात्रावासों का निर्माण किया जा रहा है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि जनजातीय विकासखंडों में युवाओं के लिए रोजगार को प्राथमिकता दी जाए एवं छात्रावासों के उचित प्रबंधन का विशेष ध्यान रखा जाए। यहां रहने वाले विद्यार्थियों में सांस्कृतिक मूल्यों के विकास के लिए आनंद विभाग के साथ गायत्री परिवार और विद्या भारती जैसी संस्थाओं से जोड़ा जाए।

बैठक में मुख्य सचिव जैन ने पंचायत एवं ग्रामीण विकास के अधिकारियों को प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण के अंतर्गत स्वीकृत 2 लाख 7 हजार 922 आवासों की दोबारा समीक्षा करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि स्वीकृत आवासों में इस बात का विशेष ध्यान रखा जाए कि 26 जनवरी तक चले जन-कल्याण पर्व के हितग्राही शामिल है या नहीं। इसके लिए 89 जनजातीय विकासखंड एवं आकांक्षी जिलों के गांवों में विशेष दल भेजकर सर्वे कराया जाए। पंचायत एवं ग्रामीण‍ विकास के अधिकारियों ने बताया कि 96 हजार हितग्राहियों को आवास निर्माण के लिए पहली किश्त जारी की जा चुकी है।

 

India Edge News Desk

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